उप संचालक किसान कल्याण एवं कृषि विकास श्री मनोज कश्यप ने जानकारी दी है कि खरीफ वर्ष 2025 के लिए जिले में विभिन्न फसलों के लिए कुल बुवाई लक्ष्य तय किया गया है। मौसम अनुकूल होने और समय पर वर्षा शुरू होने के कारण किसानों ने धान की बुवाई डीएसआर विधि से प्रारंभ कर दी है। साथ ही धान की लगभग 5800 हेक्टेयर क्षेत्र में नर्सरी तैयार की जा रही है।
खरीफ फसलों का निर्धारित बुवाई लक्ष्य (हेक्टेयर में)
अब तक जिले में 5 से 6 प्रतिशत क्षेत्र में बुवाई पूरी हो चुकी है। वर्तमान में दलहनी और तिलहनी फसलों की बुवाई का समय उपयुक्त है।
किसान उन्नत किस्म के बीज मध्यप्रदेश राज्य बीज एवं कृषि विकास निगम, शासकीय कृषि प्रक्षेत्र, गहवरा, बीज उत्पादक सहकारी समितियाँ पंजीकृत निजी विक्रेताओं से प्राप्त कर सकते हैं। योजनाओं के अंतर्गत अरहर और उड़द के मिनीकिट का नि:शुल्क वितरण विकासखंड स्तर पर किया जा रहा है, जो वर्तमान में जारी है।
इन योजनाओं के अंतर्गत बीजों का भंडारण विकासखंड स्तर पर किया गया है। योजना का लाभ लेने के लिए एमपी किसान पोर्टल पर पंजीयन अनिवार्य है। चूंकि योजनाओं में बीज सीमित मात्रा में उपलब्ध होता है, इसलिए वितरण “पहले आओ, पहले पाओ” के आधार पर किया जा रहा है।
उर्वरकों की पर्याप्त उपलब्धता:
जिले में सहकारी और निजी संस्थानों के माध्यम से निम्न उर्वरकों का भंडारण सुनिश्चित किया गया है:
कृषि विभाग ने किसानों से अपील की है कि वे समय पर बीज एवं उर्वरक की व्यवस्था सुनिश्चित करें और योजनाओं का लाभ उठाने के लिए शीघ्र पंजीयन कराएं।