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Dhan ki kheti: धान की फसल को बर्बाद कर सकता है शीथ ब्लाइट रोग, किसान समय रहते बरतें सावधानी

शीथ ब्लाइट रोग
शीथ ब्लाइट रोग

धान की फसल में शीथ ब्लाइट एक घातक रोग है, जो समय पर इलाज न होने पर पूरी फसल को नष्ट कर सकता है। कृषि वैज्ञानिकों ने किसानों को शुरुआती लक्षण पहचानकर तुरंत उपचार करने की सलाह दी है।

संक्रमण से सूख सकती है पूरी फसल, जलभराव वाले खेत सबसे अधिक प्रभावित:

मध्य भारत समेत देश के कई हिस्सों में धान की खेती जोरों पर है, लेकिन किसानों को इस वक्त सतर्क रहने की जरूरत है। कृषि विशेषज्ञों ने धान की फसल में शीथ ब्लाइट नामक एक गंभीर रोग के बढ़ते प्रकोप को लेकर चेतावनी दी है। यह बीमारी अगर समय रहते नियंत्रित न की जाए, तो यह फसल को पूरी तरह से बर्बाद कर सकती है।

कैसे होता है संक्रमण, क्या हैं शुरुआती लक्षण:

कृषि वैज्ञानिकों के अनुसार, यह रोग पत्तियों की शीथ (आवरण) से शुरू होता है, जहां 2 से 3 सेंटीमीटर लंबे भूरे-हरे रंग के धब्बे दिखाई देने लगते हैं। ये धब्बे धीरे-धीरे पूरी पत्ती को घेर लेते हैं और पौधा सूखकर पुआल जैसा दिखने लगता है। यह रोग मुख्य रूप से उन खेतों में फैलता है, जहां पानी का जमाव होता है और खरपतवार अधिक होते हैं। संक्रमण गंभीर होने पर यह रोग सबसे ऊपर की पत्ती यानी फ्लैग लीफ तक पहुंच सकता है, जिससे बालियों में दाने नहीं बनते और उत्पादन पर बुरा असर पड़ता है।

मिट्टी से फैलता है रोग, इसलिए तैयारी जरूरी:

चूंकि यह रोग मृदा जनित होता है, इसलिए रोपाई से पहले खेत की तैयारी विशेष रूप से करनी चाहिए। विशेषज्ञों का सुझाव है कि बिचड़े लगाने से पहले प्रति एकड़ खेत में 25 किलो वर्मी कम्पोस्ट या सड़ी हुई गोबर की खाद में एक किलो ट्राइकोडर्मा मिलाकर खेत की जुताई करें और पाटा लगाएं। इससे मिट्टी में मौजूद हानिकारक फंगस को खत्म किया जा सकता है।

उपचार के लिए करें ये उपाय:

  • खेत की रोपाई के बाद प्रति लीटर पानी में 1 मिलीलीटर थिफ्लुज़ामाइड दवा मिलाकर ड्रेंचिंग करें।
  • साथ ही, प्रोपिकोनाजोल नामक रसायन की 500 मिलीलीटर मात्रा प्रति हेक्टेयर की दर से फसल पर छिड़काव करें।
  • खेत में पानी निकासी की उचित व्यवस्था बनाना भी बेहद जरूरी है ताकि जलभराव न हो सके।

समय पर उपचार से बच सकती है फसल: विशेषज्ञों का कहना है कि अगर किसान इस रोग के लक्षणों को शुरुआत में ही पहचान लें और बताए गए उपायों को समय पर अपनाएं, तो फसल को इस घातक संक्रमण से बचाया जा सकता है। लेकिन जरा-सी लापरवाही भारी नुकसान का कारण बन सकती है।

निष्कर्ष: धान की फसल में शीथ ब्लाइट एक गंभीर रोग है, लेकिन समय पर पहचान और उचित उपायों के जरिये किसान इससे न सिर्फ बचाव कर सकते हैं बल्कि अच्छी उपज भी प्राप्त कर सकते हैं। खेत की साफ-सफाई, जल निकासी और दवा का सही इस्तेमाल इसके नियंत्रण में अहम भूमिका निभाते हैं।

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