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सभी फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) तय, किसानों को मिलेगा बड़ा लाभ

कृषि मंत्री ने किया MSP की घोषणा
कृषि मंत्री ने किया MSP की घोषणा

भारत सरकार हर वर्ष 22 अनिवार्य कृषि फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) घोषित करती है। यह निर्णय कृषि लागत एवं मूल्य आयोग की सिफारिशों तथा राज्यों व संबंधित मंत्रालयों से प्राप्त सुझावों के आधार पर लिया जाता है। MSP की खरीद प्रक्रिया में डिजिटल भुगतान प्रणाली लागू की गई है ताकि किसानों को पारदर्शी और समय पर भुगतान सुनिश्चित हो सके।

ऋण माफी योजना नहीं, अन्य योजनाओं से सहायता:

वर्तमान में कृषि एवं किसान कल्याण विभाग में कोई ऋण माफी योजना लागू नहीं है। हालांकि किसानों को MSP, प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि (PM-Kisan), प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना (PMFBY), संशोधित ब्याज अनुदान योजना (MISS) और कृषि अवसंरचना कोष (AIF) जैसी योजनाओं के माध्यम से वित्तीय मजबूती प्रदान की जा रही है।

MSP के अंतर्गत खरीद और भुगतान:

वित्तीय वर्ष 2024-25 (जुलाई से जून) के दौरान MSP पर खरीद, भुगतान और किसानों को मिले लाभ का विवरण इस प्रकार है—
खरीद: 1,175 लाख मीट्रिक टन
किसानों को भुगतान: ₹3.33 लाख करोड़
लाभान्वित किसान: 1.84 करोड़

पीएम किसान सम्मान निधि (PM-KISAN):

फरवरी 2019 में शुरू हुई इस केंद्रीय योजना के अंतर्गत प्रत्येक भूमि धारक किसान को सालाना ₹6,000 की सहायता तीन समान किश्तों में सीधे बैंक खाते में डीबीटी के माध्यम से दी जाती है। अब तक 19 किस्तों के जरिए ₹3.69 लाख करोड़ राशि किसानों तक पहुंचाई जा चुकी है।

प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना (PMFBY): खरीफ 2016 से लागू इस योजना के अंतर्गत प्राकृतिक आपदाओं और विपरीत मौसम से फसल क्षति पर बीमा सहायता दी जाती है। 2016 से अब तक किसानों ने कुल ₹35,753 करोड़ प्रीमियम जमा किया, जिसके बदले उन्हें ₹1.83 लाख करोड़ का क्लेम मिला है (30 जून 2025 तक)। यह राशि किसानों द्वारा भरे गए प्रीमियम की लगभग 5 गुना है।

संशोधित ब्याज अनुदान योजना (MISS): इस योजना के अंतर्गत किसानों को कार्यशील पूंजी हेतु किसान क्रेडिट कार्ड (KCC) से लिए गए अल्पकालिक ऋणों पर रियायती ब्याज दर की सुविधा मिलती है। पिछले पाँच वर्षों में फंड वितरण का विवरण—

  1. 2020-21: ₹17,789.72 करोड़
  2. 2021-22: ₹21,476.93 करोड़
  3. 2022-23: ₹17,997.88 करोड़
  4. 2023-24: ₹14,251.92 करोड़
  5. 2024-25: ₹17,811.72 करोड़

कृषि अवसंरचना कोष (AIF): 2020 में आत्मनिर्भर भारत अभियान के तहत शुरू की गई इस योजना का उद्देश्य कृषि क्षेत्र में दीर्घकालिक वित्तीय निवेश उपलब्ध कराना है। इसके लिए ₹1 लाख करोड़ की ऋण सुविधा प्रावधानित की गई है। 30 जून 2025 तक AIF के अंतर्गत ₹66,310 करोड़ की राशि 1,13,419 परियोजनाओं के लिए स्वीकृत की गई है। इन परियोजनाओं से कृषि क्षेत्र में ₹1,07,502 करोड़ का निवेश जुटाया गया है।

प्रमुख परियोजनाओं में:

  1. 30,202 कस्टम हायरिंग सेंटर
  2. 22,827 प्रोसेसिंग यूनिट
  3. 15,982 गोदाम
  4. 3,703 सॉर्टिंग एवं ग्रेडिंग यूनिट
  5. 2,454 कोल्ड स्टोरेज प्रोजेक्ट
  6. 38,251 अन्य कृषि-आधारित परियोजनाएं शामिल हैं।
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