कृषि उत्पादों के प्रसंस्करण और मूल्य संवर्धन को बढ़ावा देने के लिए केंद्र सरकार द्वारा खाद्य प्रसंस्करण उद्योग मंत्रालय (MoFPI) के माध्यम से कई प्रमुख योजनाएं लागू की जा रही हैं। इनमें छोटे, मध्यम और बड़े स्तर की इकाइयों को सहायता दी जा रही है।
तीन प्रमुख योजनाएं जो फूड प्रोसेसिंग को दे रही मजबूती:
इन योजनाओं के तहत केंद्र सरकार ग्रांट/सब्सिडी के रूप में आर्थिक सहायता प्रदान कर रही है, जिससे प्रोसेसिंग और संरक्षण की आधुनिक बुनियादी संरचनाएं तैयार हो रही हैं, जैसे कि कोल्ड चेन इन्फ्रास्ट्रक्चर।
फूड इर्रेडिएशन यूनिट्स के माध्यम से फसलों की शेल्फ लाइफ बढ़ाई जा रही है, जिससे खराब होने वाली कृषि उपज का नुकसान कम होता है। यह इकाइयाँ PMKSY की कोल्ड चेन और वैल्यू एडिशन स्कीम के अंतर्गत सहायता प्राप्त कर रही हैं।
इन योजनाओं का मुख्य उद्देश्य खेत से बाजार तक प्रभावी आपूर्ति श्रृंखला बनाना है, जिसमें भंडारण, परिवहन, मूल्यवर्धन और प्रसंस्करण शामिल हैं। इससे किसानों को बेहतर कीमत मिलती है, प्रसंस्करण स्तर में बढ़ोतरी होती है और बड़े पैमाने पर रोजगार के अवसर सृजित होते हैं।
वर्ल्ड फूड इंडिया (WFI) – वैश्विक निवेश के लिए मंच: MoFPI द्वारा अब तक तीन संस्करणों (2017, 2023, 2024) में वर्ल्ड फूड इंडिया (WFI) का आयोजन किया गया है। चौथा संस्करण 25 से 28 सितंबर, 2025 के बीच आयोजित किया जाएगा। WFI का उद्देश्य भारत में फूड प्रोसेसिंग, तकनीक, उपकरण निर्माण, लॉजिस्टिक्स, कोल्ड चेन आदि क्षेत्रों में निवेश के विशाल अवसरों को प्रदर्शित करना है। इसमें भागीदारी से उद्योगों को भारतीय और अंतरराष्ट्रीय साझेदारों के साथ नेटवर्किंग और व्यापार के नए अवसर मिलते हैं।
भविष्य की दिशा: MoFPI सक्रिय रूप से फसल के बाद होने वाले नुकसान को कम करने, मूल्य संवर्धन बढ़ाने और प्रसंस्करण स्तर को ऊंचा करने की दिशा में कार्य कर रहा है। WFI-2025 इस प्रयास को वैश्विक स्तर पर आगे बढ़ाएगा और भारत के फूड प्रोसेसिंग उद्योग को नई गति देगा।