प्रदेश में 45% से अधिक बरसात महज एक महीने में पूरी, मध्य प्रदेश में मानसून ने इस साल जोरदार दस्तक दी है। जून के अंत से शुरू हुआ बारिश का सिलसिला जुलाई में भी पूरी रफ्तार से जारी है। मौसम विभाग के ताजा आंकड़ों के अनुसार प्रदेश में अब तक सामान्य के मुकाबले 45% से ज्यादा बारिश रिकॉर्ड की जा चुकी है। खास बात यह है कि निवाड़ी जिले में औसत बारिश से भी अधिक, यानी 102% वर्षा हो चुकी है।
सोमवार को मंडला जिले में 9 घंटे में करीब 2 इंच बारिश दर्ज की गई, वहीं खरगोन में डेढ़ इंच और टीकमगढ़ व उमरिया में आधा-आधा इंच पानी गिरा। भारी बारिश की वजह से शिवपुरी जिले में स्थित अटल सागर मड़ीखेड़ा बांध का जलस्तर तेजी से बढ़ा, जिसके कारण सोमवार सुबह 6:30 बजे इसके छह गेट खोलने पड़े।
रविवार और सोमवार को भोपाल, दतिया, गुना, ग्वालियर, इंदौर, उज्जैन, श्योपुर, शिवपुरी, रतलाम, जबलपुर, खजुराहो, सागर, सिवनी, बालाघाट, सीहोर, देवास, राजगढ़, विदिशा, शाजापुर और आगर-मालवा सहित 20 से ज्यादा जिलों में अच्छी बारिश दर्ज की गई। मौसम विभाग के अनुसार रात में भी कई जिलों में बारिश जारी रहने की संभावना है।
भारतीय मौसम विभाग के मुताबिक, प्रदेश के पश्चिमी हिस्सों—जैसे नीमच, मंदसौर, रतलाम, झाबुआ और आलीराजपुर—में 15 से 18 जुलाई के बीच भारी वर्षा हो सकती है। हालांकि, अगले 48 घंटों के बाद यह बारिश कुछ धीमी हो सकती है क्योंकि वर्तमान में सक्रिय सिस्टम धीरे-धीरे आगे बढ़ने लगे हैं। इसके बावजूद नमी के चलते कुछ जिलों में स्थानीय बादलों से हल्की से मध्यम बारिश की गतिविधियां बनी रहेंगी।
कृषि और जल-स्रोतों के लिए राहत, अलर्ट भी जारी: लगातार हो रही बारिश ने जहां किसानों के चेहरों पर मुस्कान ला दी है, वहीं कुछ क्षेत्रों में अधिक वर्षा के कारण जलभराव और बांधों में जलस्तर बढ़ने से प्रशासन को सतर्कता भी बरतनी पड़ रही है। मौसम विभाग ने लोगों से सावधानी बरतने और जलस्रोतों के आसपास न जाने की सलाह दी है।
निष्कर्ष: मध्य प्रदेश में इस बार मानसून ने समय पर और प्रभावशाली शुरुआत की है। फिलहाल अगले कुछ दिनों तक वर्षा का दौर जारी रहने की उम्मीद है, जिससे खेती-बाड़ी के लिए यह समय अनुकूल बना रहेगा, लेकिन प्रशासन और आम जनता को सतर्क रहने की भी आवश्यकता है।
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